Paros ki ladki ko uske ghar me hi choda: Paros ladka ladki Sex Story – hindi story

वो मेरा लण्ड खडा देख कर अब मुझसे मज़े लेना चाहती थी. लेकिन मेरी तरफ से पहल का इंतजार कर रही थी. इस लिए फिर उसने कहा कि अच्छा, कब तो खाना ठंडा हो गया है, एक काम करो अब तुम इसे गरम कर लाओ, मैं अभी – अभी नहा कर आई हूँ तो थोड़ा मैं खुद को सुखा लूँ…

अन्तर्वासना के प्यारे पाठकों और सभी आंटियों और लड़कियों को मेरे लन्ड का प्यार भरा नमस्कार. मेरा नाम सागर है और मेरी उम्र 25 साल है. मैं गुजरात के शहर जाम नगर के एक छोटे से गांव का रहने वाला हूँ.

अब आप लोगों का ज्यादा समय बर्बाद न करते हुए मैं सीधा अपनी कहानी शुरू करता हूँ. दोस्तों, मैं बचपन से ही लड़कियों और आंटियों से बहुत शरमाता था. कुछ समय पहले ही मेरे पड़ोस में एक नई लड़की आई. उसका नाम जानवी था. उसकी उम्र भी 22-24 साल के आस – पास ही रही होगी. वह देखने में एक दम मस्त थी.

जब मैंने उसे पहली बार देखा था, तभी से उसे चोदने के बारे में सोचने लगा. मैं जब भी उसे देखता तो देखते ही मेरा लण्ड खडा हो जाता था. मैं उसे चोदने के तरीके खोजता रहता, लेकिन कोई ट्रिक काम नहीं आ रही थी. वो मुझे ज्यादा भाव ही नहीं देती थी.

आख़िरकार, एक दिन भगवान ने मेरी सुन ही ली. मेरे घर के सारे लोग सर्दियों की छुट्टी में 15 – 20 दिनों के लिए बाहर घूमने चले गए. चूँकि मेरे पेपर चल रहे थे सो मैं उनके साथ नहीं जा पाया. इसलिए मेरी मम्मी मुझे खाना खिलाने के लिए उसके घर पर ही बोल गई थी.

शुरुआत के एक – दो दिन तो सब कुछ सामान्य रहा. तीसरे दिन दोपहर को वो घर में अकेली थी. उस दिन जब मैं दोपहर का खाना खाने के लिए उनके घर गया तो उसने मेरा खाना लगा दिया. अपना अकेले का खाना लगा देख कर मैंने उससे कहा – तुम नहीं खाओगी क्या?

इस पर वो बोली – मैं पहले नहाउंगी, फिर उसके बाद ही खाना खाऊँगी!

इतना कह कर वो बाथरूम नहाने चली गई. दोस्तों, मुझे पेट की नहीं चूत की भूख लग रही थी सो मैं भी उसके पीछे हो लिया. वो सीधा जाकर बाथरूम में घुस गई. अब माओ भी बाथरूम के बाहर पहुंच गया. फिर मुझे बाथरूम के दरवाज़े में एक छेद देखाई दिया. जब उस छेद से मैंने देखा तो उसने एक – एक करके अपने सारे कपड़े उतार दिए थे.

उसे इस रूप में देख कर मेरे शरीर में अजीब सा करंट दौड़ गया. फिर उसने फुहारा चलाया और उसके नीचे जाकर नहाने लगी. फुहारे से उसके खूबसूरत बदन पर गिर कर पानी की बूंदें मोती जैसी चमक रही थीं. यह सब देख – देख कर मुझे मजा आ रहा था और साथ ही डर भी लग रहा था कि कहीं कोई आ ना जाए.

अब मेरा लण्ड खड़ा हो गया था और ऐसा लग रहा था कि पैन्ट को फ़ाड़ कर बाहर ही निकल आएगा. कुछ देर बाद जानवी नहा चुकी और फिर उसने अपने कपड़े पहनने शुरू कर दिए. यह देख कर मैं जल्दी से मुड़ा और वापस आकर खाने के पास बैठ गया.

जब वह नहाने के बाद बाथरूम से निकल कर बाहर आई तो एक दम ऐश्वर्या राय की तरह लग रही थी. टेबल पर मेरा खाना रखा देख कर उसने पूछा कि तुमने अभी तक खाना क्यों नहीं खाया?

दोस्तों, मेरा लण्ड अभी भी खड़ा ही था. किसी तरह उसकी निगाह उस पर पड़ गई. मैं अब उससे नज़र नहीं मिला पा रहा था. फिर मैंने बात बनाते हुए उससे कहा कि तुम्हारा ही इंतजार कर रहा था, ताकि जब तुम नहा कर आओ तो दोनों साथ मिल कर खाना खा लेंगे.

दोस्तों, वो मेरा लण्ड खडा देख कर अब मुझसे मज़े लेना चाहती थी. लेकिन मेरी तरफ से पहल का इंतजार कर रही थी. इस लिए फिर उसने कहा कि अच्छा, कब तो खाना ठंडा हो गया है, एक काम करो अब तुम इसे गरम कर लाओ, मैं अभी – अभी नहा कर आई हूँ तो थोड़ा मैं खुद को सुखा लूँ.

चूंकि मैं अपने लण्ड को दबा कर बैठा था, इसलिए उठना नहीं चाह रहा था. मैंने मना कर दिया. लेकिन उसने फिर से खाना गर्म करने को कहा तो मैंने लन्ड को दबाकर साइड में करके छुपाने की कोशिश करने लगा. यह देख कर जानवी बोली – यह क्या छुपा रहे हो?

उसकी यह बात सुन कर मैं पूरी तरह चौंक गया और फिर मैंने कहा कि कुछ नहीं!

इस पर वो आंख नचाते हुए बोली – यह छुपाने के लिए नहीं होता!

उसके इतना कहते ही मैंने उसे पकड़ लिया और किस करने लगा. इसके साथ ही साथ मैं उसके बूब्स भी दबाने लगा. धीरे – धीरे उसे भी मज़ा आने लगा. अब उसने अपना एक हाथ मेरे लन्ड पर रख दिया और उसे पकड़ कर सहलाने लगी.

फिर हम दोनों ने एक – एक करके एक – दूसरे के सारे कपड़े उतार दिए. इसके बाद मैंने जैसे ही उसकी चूत में ऊँगली की, वैसे ही उसके मुँह से ‘उह आह उह्ह आह्ह्ह’ की आवाजें निकलने लगी. दोस्तों, मुझे अपनी किस्मत पर यकीन ही नहीं हो रहा था कि जिसे मैं चोदने के सपने देखता था, आज वो मेरे सामने नंगी पड़ी है और कुछ ही देर में मैं उसे चोद रहा होऊंगा.

अब वो पूरे जोश में आ गई थी और तेज – तेज चिल्ला रही थी. वो लगातार बोले जारही थी, “चोद दो मुझे आज, जी भर कर चोदो मुझे. बुझा दो आज मेरे चूत की प्यास को.”

फिर मैंने भी अपना लण्ड उसके चूत के छेद पर रख कर एक जोरदार धक्का लगाया. जिससे मेरे लन्ड का सुपाड़ा अंदर चला गया. लण्ड का सुपारा अंदर जाते ही वो ज़ोर से चिल्लाई और बोली – थोड़ा धीर करो न.

लेकिन मैंने उसकी एक ना सुनी और एक बार फिर एक जोरदार धक्का लगते हुए लण्ड को पूरा उसकी चूत में घुसेड़ दिया. उसके मुंह से जोरदार चीख निकल गई. लेकिन मुझे कोई फर्क नहीं पडा. फिर मैंने धीरे – घीरे धक्के लगाने शुरू किए. थोड़ी देर बाद उसे भी मज़ा आने लगा और फिर वो भी अपनी गांड हिला – हिला कर मेरा साथ देने लगी.

चूँकि ये हमारी पहली चुदाई थी इसलिए करीब 20-30 धक्कों के बाद ही वो और मैं दोनों एक साथ ही झड़ गए. उस दिन मुझे पहली बार एहसास हुआ कि पृथ्वी पर स्वर्ग सिर्फ़ चूत मारने में हैं.

दोस्तों, आगे भी मैंने कई बार जानवी को चोदा है, लेकिन वो कहानी मैं आपको बाद में बताउंगा. आपको मेरी यह कहानी कैसी लगी? मुझे मेल करके अपनी राय दे सकते हैं. मेरी मेल आईडी – [email protected]

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